संविधान सभा में डॉ. अम्बेडकर का अंतिम संबोधन

संविधान सभा में डॉ. अम्बेडकर का अंतिम संबोधन

डॉ. अम्बेडकर ने कहा कि वह यह नहीं कहते कि संसदीय लोकतंत्र का सिद्धांत राजनीतिक लोकतंत्र के लिए एकमात्र आदर्श व्यवस्था है। संविधान सभा में हुई सार्थक चर्चाओं को लेकर अम्बेडकर की राय हमें जरूर यह बताती है कि वह इस व्यवस्था के हामी थे।

हिंदी दिवस: राज भाषा निर्माण का संघर्ष

हिंदी दिवस: राज भाषा निर्माण का संघर्ष

जिस समय भारत ब्रिटिश उपनिवेशवाद से आज़ाद हो रहा था और एक नए राष्ट्र के रूप में उसका एकीकरण हो रहा था, ठीक उसी समय पहली बार भारत की राज भाषा और राष्ट्र भाषा का प्रश्न खड़ा हुआ। संविधान सभा में हिंदी और अहिंदीभाषी सदस्यों के बीच लंबी बहस के बाद हिंदी को राज भाषा बनाने पर सहमति बन सकी।